हरित क्रांति: कृषि क्षेत्र में अनुसंधान एवं विकास

शुरुआत से ही भारत की अधिकतर जनसंख्या या कह सकते है, लगभग 80 प्रतिशत जनता अपने जीवन निर्वाह के लिए केवल कृषि (Green revolution) पर निर्भर करती थी, परंतु फिर भी भारतीय जनसंख्या के निर्वाह के लिए अनाज को बाहर से आयात करना पड़ता था।

हमारे देश में हरित क्रांति (Green revolution) की शुरुआत सन 1966-67 में हुई। हरित क्रांति (Green revolution) के फलस्वरूप भारतीय कृषि प्रणाली और सिंचित किए जाने वाले बीजों की गुणवत्ता में कई परिवर्तन किए गए, जिससे अचानक से कृषि उत्पादन में बहुत सुधार हुए। हरित क्रांति के फलस्वरूप मुख्य रूप से खेती में तकनीकी सुधार किए गए, जिसका मूल उद्देश्य केवल और केवल कृषि उत्पादकता में वृद्धि करना था।


हरित क्रांति (Green revolution)


  • अमेरिकी वैज्ञानिक डॉक्टर विलियम गैड में अधिक उपज देने वाली किस्मों के संदर्भ में सर्वप्रथम 1968 में हरित क्रांति शब्द का प्रयोग किया था।
  • भारत में तृतीय पंचवर्षीय योजना (1961-66) के अंतिम 2 वर्षों में देशव्यापी सूखे का प्रभाव कृषि के उत्पादन पर पड़ा अतः देश के खाद उत्पादन में आत्मनिर्भर बनाने के उद्देश्य को ध्यान में रखकर (1966-67) में योजना अवकाश में कृषि क्षेत्र में विकास के लिए नई कृषि रणनीति अपनाई गई।
  • इसके तहत बड़े पैमाने पर अधिक उपज देने वाले उन्नत किस्म के बीजों का प्रयोग आरंभ हुआ इस उन्नत किस्म के बीज से अधिक उत्पादन प्राप्त करने के लिए रासायनिक उर्वरकों के प्रयोग को बढ़ावा दिया गया तथा सघन कृषि कार्यक्रम अपनाया गया।
  • इसके अलावा कृषि क्षेत्र में अनुसंधान एवं प्रशिक्षण लघु सिंचाई भूमि संरक्षण जैसे उपाय भी अपनाए गए तथा इन उपायों के परिणाम स्वरुप भारत के पश्चिमोत्तर भाग में गेहूं का उत्पादन में तीव्र वृद्धि हुई तथा अन्य फसलों के उत्पादन का भी मार्ग प्रशस्त हुआ।
  • इसे ही भारतीय कृषि के क्षेत्र में हरित क्रांति का नाम दिया गया क्योंकि इस नीति के परिणाम स्वरुप भारतीय कृषि में क्रांतिकारी परिवर्तन आया इस कार्य में अमेरिकी कृषि वैज्ञानिक डॉ नॉर्मन बोरलॉग तथा भारतीय कृषि वैज्ञानिक डॉ एम एस स्वामीनाथन का विशेष योगदान रहा।
  • भारत में हरित क्रांति के परिणामस्वरुप गेहूं, मक्का और चावल जैसे खद्यान्नों के उत्पादन में भारी वृद्धि हुई इससे भारत खाद्यान्न के मामले में आत्मनिर्भर हो गया।
  • अनाजों के आयात बंद होने से महत्वपूर्ण विदेशी मुद्रा की बचत होने लगी ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार में वृद्धि के साथ-साथ कृषि आधारित उद्योगों को भी बढ़ावा मिला।
  • इस क्रांति का लाभ देश के कुछ क्षेत्रों (पंजाब, हरियाणा, पश्चिमी उत्तर प्रदेश, राजस्थान का गंगानगर जिला, महाराष्ट्र, तमिलनाडु) को प्राप्त हो तथा अन्य राज्य से अप्रभावित ही रहे इससे क्षेत्रीय असंतुलन को बढ़ावा मिला।
  • हरित क्रांति का सर्वाधिक प्रभाव गेहूँ के उत्पादन पर पड़ा शेष फसलों को हरित क्रांति का लाभ उस अनुपात में प्राप्त नहीं हो सका।
  • रासायनिक उर्वरकों एवं कीटनाशकों को अत्यधिक प्रयोग से पर्यावरण प्रदूषण को भी बढ़ावा मिला 1990 के दशक तक आते-आते कृषि क्षेत्र में स्थिरता आ गई।

द्वितीय हरित क्रांति (Second Green Revolution)


  • कृषि क्षेत्र में आई इस स्थिरता को दूर करने क्षेत्रीय असंतुलन को कम करने पर्यावरण के हितों को ध्यान में रखते हुए कृषि क्षेत्र में समग्र विकास को बढ़ावा देने के उद्देश्य से सबसे पहले वर्ष 2006 के विज्ञान कांग्रेस में एपीजे अब्दुल कलाम ने द्वितीय हरित क्रांति का आह्वान किया।
  • इसके तहत उन्नत बीजों का चयन क्षेत्रीय भूमि की दशा के आधार पर किया जाएगा इसमें मोटे अनाजों के उत्पादन पर भी ध्यान दिया जाएगा।
  • द्वितीय हरित क्रांति के तहत जैव प्रौद्योगिकी तथा अनुवांशिक इंजीनियरिंग के प्रयोग द्वारा अधिक उत्पादकता एवं गुणवत्ता पूर्ण बीजों के विकास पर जोर दिया जाएगा।
  • इस चरण में ड्रिप सिंचाई एवं स्पीक स्प्रिंकलर सिंचाई जैसे सिंचाई के उन्नत एवं पर्यावरण की दृष्टि से अनुकूल साधनों के उपयोग पर बल दिया गया है।
  • इसके साथ ही वाटर शेड में मैनेजमेंट द्वारा बंजर भूमि को कृषि योग्य बनाने के उपाय किए जाएंगे।
  • प्रथम हरित क्रांति जहां उत्पादकता में वृद्धि पर आधारित थी वही द्वितीय हरित क्रांति कृषिगत आय वृद्धि पर आधारित है।

भारतीय स्वतंत्रता के बाद जब हिंदुस्तान की कार्यप्रणाली अपनी गति से चलने लगी तो भारतीय कृषि और खाद्यान की समस्या पर ध्यान दिया गया। भारतीय खाद्यान की समस्या को जड़ से समाप्त करने के लिए हरित क्रांति का सूत्रपाद किया गया।

Read more:

This Post Has 3 Comments

  1. Elisa

    Heya i am for the first time here. I came across this board and I to
    find It truly useful & it helped me out a lot.
    I hope to provide something back and help others such as you helped me.

  2. Infinite Restore Cream

    Nice post. I used to be checking constantly this weblog
    and I’m impressed! Extremely useful info specially the last section :
    ) I handle such information much. I used to be looking for this particular info for a very long time.
    Thanks and good luck.

  3. best essay writing service uk

    Thanks for finally talking about >हरित क्रांति:
    कृषि क्षेत्र में अनुसंधान एवं विकास – Times Darpan <Liked it!

Leave a Reply